उत्तर प्रदेश सरकार प्रदूषण के स्तर को कम करने के लिए राज्य के कानपूर और आगरा समेत 14 प्रमुख शहरों में 700 इलेक्ट्रिक बसें चलाने की योजना बना रही है।
साल के अंत तक उत्तर प्रदेश के 14 शेहरोँ में शुरू हो जाएगी इलेक्ट्रिक बस सेवा
उत्तर प्रदेश सरकार प्रदूषण के स्तर को कम करने के लिए राज्य के इलेक्ट्रिक बस सेवा शुरू कर रही है| सरकार के प्रवक्ता के अनुसार परियोजना पर तेजी से काम किया जा रहा है| मंगलवार को राज्य भर के 14 शहरों में इन्हें लॉन्च करने से पहले शून्य-उत्सर्जन बसों का परीक्षण शुरू किया गया था। यह पहल FAME (फास्टर एडॉप्शन एंड मैन्युफैक्चरिंग ऑफ इलेक्ट्रिक व्हीकल्स) योजना के भारत सरकार के चरण II के तहत है, जिसका उद्देश्य देश में इलेक्ट्रिक वाहनों के लिए प्रोत्साहन प्रदान करना है।
स्मार्ट सिटी योजना के तहत शुरू की जा रही है सेवा
पहले इलेक्ट्रिक बसें सात शहरों में सड़कों पर चलती थीं, लेकिन अब सरकार का इरादा सात और शहरों में यह सेवा देने का है। प्रवक्ता ने कहा कि आने वाले दिनों में और बसों को बेड़े में जोड़ा जाएगा और बसों को तेजी से चलाने के लिए मार्गों को अपग्रेड किया जाएगा। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने एक बयान में कहा कि उन्नत तकनीक पर आधारित इलेक्ट्रिक बसों के संचालन से राज्य के 14 प्रमुख शहरों में यातायात व्यवस्था में काफी सुधार होगा।
उत्तर प्रदेश सरकार ने भी इलेक्ट्रिक बसों के संचालन के लिए सभी चयनित स्थानों पर चार्जिंग स्टेशन तैयार करने के सख्त निर्देश जारी किए हैं| शहरी परिवहन निदेशालय ने यूपी सरकार से मंजूरी मिलने के बाद इस प्रोजेक्ट पर काम शुरू कर दिया है। गौरतलब है कि स्मार्ट सिटी योजना के तहत शहरी परिवहन विभाग को प्रदूषण मुक्त इलेक्ट्रिक वाहन चलाने की जिम्मेदारी दी गई है|
शहरी परिवहन निदेशालय के संयुक्त सचिव अजीत सिंह ने कहा कि, ”यूपी के 14 शहरों में 700 इलेक्ट्रिक बसें उपलब्ध कराने का काम अक्टूबर के अंत तक पूरा कर लिया जाएगा और नवंबर माह से यात्रियों को इलेक्ट्रिक बसों की सुविधा मिल जाएगी|” उन्होंने यह भी कहा कि पहली बार इलेक्ट्रिक बसें मिलने वाले शहर मुरादाबाद, झांसी, बरेली, शाहजहांपुर, गाजियाबाद, गोरखपुर और अलीगढ़ हैं। जिन शहरों को अतिरिक्त बसें मिलेंगी उनमें लखनऊ, कानपुर, वाराणसी, आगरा, मेरठ, मथुरा और गाजियाबाद शामिल हैं।