जानिये कैसे उत्तर प्रदेश के इस ऑटो रिक्क्षा ड्राइवर की बेटी बनी यूपीएससी परीक्षा में टॉपर

प्रतिभा वाले व्यक्ति को आसानी से दबाया नहीं जा सकता और 24 वर्षीय मेघा अरोड़ा इसका प्रमाण हैं। आगरा की रहने वाली मेघा ने संघ लोक सेवा आयोग (यूपीएससी) द्वारा आयोजित भारतीय आर्थिक सेवा (आईईएस) परीक्षा में अखिल भारतीय स्तर पर आठवां स्थान हासिल किया है। उनके पिता, जिन्होंने आठवीं कक्षा तक पढ़ाई की है, एक ऑटो रिक्शा चालक हैं और उनकी माँ एक प्राथमिक विद्यालय की शिक्षिका हैं। मेघा ने इस जबरदस्त सफलता को हासिल करने के लिए तमाम मुश्किलों का सामना किया है।

सफल हुई पिता की मेहनत, बेटी बनी यूपीएससी टॉपर

हमेशा मेधावी छात्रा रही मेघा ने 12वीं की परीक्षा में 95 फीसदी अंक हासिल किए। इस उपलब्धि ने उनके सपनों को पंख दिएऔर उन्हें दिल्ली विश्वविद्यालय के हंसराज कॉलेज में प्रवेश मिल गया। हालांकि स्कूल में मेघा ने साइंस की पढ़ाई की थी, लेकिन कॉलेज में अपने चाचा के कहने पर कॉमर्स की तरफ गई। स्नातक की पढ़ाई पूरी करने के बाद, उन्होंने दिल्ली स्कूल ऑफ इकोनॉमिक्स से पोस्ट-ग्रेजुएशन करने का फैसला किया। मेघा ने तब यूपीएससी द्वारा आयोजित आईईएस परीक्षा के लिए लक्ष्य बनाने का फैसला किया। वह कहती है कि इस दौरान उसके चाचा ने बहुत मदद की।

कठोर मेहनत लायी रंग, बेटी बनी यूपीएससी टॉपर

मेघा के प्रयासों का पता इस बात से लगाया जा सकता है कि वह अपने पहले ही प्रयास में परीक्षा को क्रैक करने के लिए सक्षम थी। मेघा की उपलब्धियों के बारे में बात करते हुए उनके पिता सुनील अरोड़ा का कहना है कि उन्होंने उन्हें गौरवान्वित किया है। उनका कहना है कि इसे हासिल करने के लिए उन्हें वास्तव में कड़ी मेहनत करनी पड़ी और यह सब किसी एक सपने के सच होने जैसा है। उसकी माँ का कहना है कि वह हमेशा एक उत्कृष्ट छात्रा रही है, और परिवार से पहली बार सरकारी अधिकारी बनी है।

एक दोस्त के सुझाव के बाद मेघा ने परीक्षा की तैयारी शुरू कर दी। हालांकि अर्थशास्त्र की उनकी बुनियादी अवधारणाएं स्पष्ट थीं, लेकिन रोजाना 8-10 घंटे की पढ़ाई के बाद ही उन्होंने परीक्षा में सफलता हासिल की।